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दो दर्जन बांग्लादेशियों को ला चुका है एजेंट कमरूल, घुसपैठिए तलाश रही आगरा पुलिस

Updated : Thu, 09 Feb 2023 05:08 PM

कमरूल जिला खुलना, बांग्लादेश का रहने वाला है। पुलिस ने उससे मोबाइल फोन बरामद किया है। जिसमें एक सिम बांग्लादेश और दूसरी भारत की है। गिरफ्तारी से चार दिन पहले ही दो लोगों को घुसपैठ कराके आगरा छोड़ गया था।

32 बांग्लादेशियों को गिरफ्तार किया था

सिकंदरा आवास विकास कालोनी के सेक्टर 14 स्थित बस्ती पर पुलिस ने छापा मारा था। वहां से 32 बांग्लादेशियों को गिरफ्तार किया था। इसके बाद खुफिया एजेंसी ने कमरूल के बारे में छानबीन शुरू की। उसके बारे में अहम जानकारी मिली हैं। वह 11 वर्ष से सीमा पार से घुसपैठ कराने का काम कर रहा था। अब तक दर्जनों बांग्लादेशियों को यहां पर लाया है। घुसपैठियों से वह 30 से 40 हजार रुपये लेता था। वह बांग्लादेश में रहने वाले रोहिंग्या शरणार्थियों को भी यहां लेकर आता था। एजेंट कमरूल से खुफिया एजेंसी विस्तृत पूछताछ की तैयारी कर रही हैं।

संदिग्ध झोपड़ियों की छानबीन कर रही पुलिस

आवास विकास कालोनी में छापामार कार्रवाई के बाद पुलिस जगह-जगह बसी संदिग्ध झोपड़ियों की भी छानबीन कर रही है। पूर्व में जेल भेजे गए बांग्लादेशियों का सत्यापन कर रही है। पांच वर्ष पहले रुनकता से गिरफ्तार गाजी के गोदाम पर पुलिस को संदिग्ध युवक सलमान मिला है। शक है कि वह बांग्लादेशी है। पूछताछ की जा रही है। पुलिस ने वर्ष 2018 में रुनकता में छापा मारा था। बांग्लादेशी के सईद उल गाजी उसके पुत्र और पत्नी समेत छह लोगों को जेल भेजा था। एक वर्ष बाद वह जमानत पर बाहर आया था।

रुनकता में बनवा लिया मकान, दो वाहन भी

वर्तमान में परिवार के साथ रुनकता में रह रहा है। उसने अपना मकान बनवा लिया है। दो वाहन एवं भूखंड भी हैं। पुलिस ने बुधवार को गाजी और उसके पुत्र को सत्यापन के लिए सिकंदरा थाने बुलाया था। उसके गोदाम पर काम करते सलमान नाम का संदिग्ध युवक मिला। वह खुद को दिल्ली का बता रहा है। पुलिस को शक है कि वह बांग्लादेशी है। पुलिस उससे पूछताछ की जा रही है। वहीं, गाजी को डिपोर्ट न करने के पीछे यहां चल रहा अभियोग है। गाजी और परिवार के खिलाफ दर्ज अभियोग का विचारण चल रहा है।