अर्थ तंत्र को गति के साथ ही तीर्थों को भी जोड़ रही वंदे भारत, पहले की तुलना में बढ़ी तीर्थयात्रियों की संख्या
Updated : Fri, 07 Apr 2023 04:47 PM

वंदे भारत ट्रेनें देश के अर्थतंत्र को गति देने के साथ-साथ धार्मिक एवं ऐतिहासिक विरासत को भी सहेजने और आगे बढ़ाने में सहायक हो रही हैं। रेलवे का मानना है कि वंदे भारत ट्रेनों के चलने के बाद से देश के कई प्रमुख तीर्थस्थलों में जाना-आना आसान हुआ है, जिसके चलते पहले की तुलना में तीर्थयात्रियों की गतिविधियां बढ़ी हैं।
सिकंदराबाद और तिरुपति के बीच चलेगी वंदे भारत ट्रेन
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शनिवार को सिकंदराबाद और तिरुपति के बीच सेमी हाई स्पीड आधुनिक ट्रेन को हरी झंडी दिखाने वाले हैं। इसके साथ ही देश में विभिन्न मार्गों पर वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों की संख्या 13 हो जाएगी। इनमें चार देश के प्रतिष्ठित तीर्थस्थलों को आपस में जोड़ सकेंगी।
हाई स्पीड ट्रेन से तीर्थयात्रियों को आसानी
हाई स्पीड ट्रेनों की सुगम संपर्कता के चलते तीर्थयात्रियों को आसानी हो रही है। साथ ही स्थानीय स्तर पर व्यापार-कारोबार और हस्तशिल्प को प्रोत्साहन मिल रहा है। रोजगार के अवसर बढ़ रहे हैं। सहायक उद्योगों के विकास से स्थानीय अर्थव्यवस्था को मजबूती मिल रही है।
वंदे भारत एक्सप्रेस के अब तक परिचालित मार्गों में से नई दिल्ली-वाराणसी, नई दिल्ली-वैष्णो देवी (कटरा) एवं छत्रपति शिवाजी टर्मिनस (मुंबई)-शिरडी प्रमुख हैं। ये ऐसे मार्ग हैं जो तीर्थस्थलों को जोड़ते हैं। सिकंदराबाद-तिरुपति मार्ग के शनिवार को खुल जाने के बाद तीर्थों को जोड़ने वाले चार प्रमुख मार्ग हो जाएंगे।
पीएम कई परियोजनाओं की रखेंगे आधारशिला
प्रधानमंत्री अपने दक्षिण भारत के दो दिवसीय दौरे के क्रम में राष्ट्रीय राजमार्ग-744 की सड़क परियोजनाओं के निर्माण की भी आधारशिला रखने वाले हैं। यह परियोजना दक्षिण के प्रमुख तीर्थ स्थलों जैसे मदुरै में मीनाक्षी मंदिर, श्रीविल्लीपुथुर में अंडाल मंदिर और केरल में सबरीमाला में जाने वाले तीर्थयात्रियों के लिए सुगम यात्रा उपलब्ध कराएगी।