पूजा-पाठ में तांबे के बर्तनों का ही क्यों होता है सबसे ज्यादा इस्तेमाल?
Updated : Mon, 14 Nov 2022 06:26 AM

हिंदू धर्म में किसी भी पूजा पाठ में पीतल के अलावा तांबा के बर्तनों का इस्तेमाल करना सबसे शुभ माना जाता है। तांबे के लोटे से ही भगवान सूर्य को अर्घ्य करने से सभी कामनाएं पूर्ण हो जाती है। बता दें कि तांबा पूरी तरह से शुद्ध होता। इसे बनाने में किसी भी दूसरी धातु का इस्तेमाल नहीं किया जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि आखिर पूजा के दौरान तांबा के बर्तनों का इस्तेमाल करना इतना शुभ क्यों माना जाता है।
वैज्ञानिक शोधों के अनुसार तांबा स्वास्थ्य के लिए काफी अच्छा माना जाता है। क्योंकि इसमें एंटी ऑक्सीडेंट, एंटी बैक्टीरिया जैसे तत्व पाए जाते हैं जो आपको स्वस्थ रखने में मदद करते हैं। रोजाना तांबे के बर्तन का पानी पीने से कई तरह की बीमारियों से बचाव हो जाता है।
तांबा में किसी भी तरह की धातु की मिलावट नहीं की जाती है। जिसके कारण यह धातु पूर्ण रूप से शुद्ध होती है। इसके अलावा तांबे के बर्तन इस्तेमाल करने से कुंडली में सूर्य, चंद्रमा और मंगल की स्थिति मजबूत होती है। इसके साथ ही पूजा के बाद इसमें मौजूद जल का पूरे घर में छिड़काव किया जाता है, जिससे कि नकारात्मक ऊर्जा निकल जाती है।